उत्तराखण्ड ज़रा हटके हल्द्वानी

देखें-आशियानों के लिए सड़को पर उतर पड़े मासूम,युवा,बुज़ुर्ग,महिलाएं –

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हल्द्वानी : सड़कों पर हज़ारों की तादाद में युवा, बुज़ुर्ग,महिलाएं – आंखो में आसुओं का सैलाब… देखें….

आंखो में आसुओं का सैलाब लेकर सड़कों पर उतरी अवाम,मासूमो की भी आँखों से छलक रहे आंसू,देखे….

हल्द्वानी-(अब्दुल मलिक) हाईकोर्ट के आदेश के बाद हल्द्वानी के बहुचर्चित रेलवे अतिक्रमण मामले ने अब ज़ोर पकड़ लिया है। ज़िला  प्रशासन और रेलवे प्रशासन आज से अतिक्रमण हटाने के लिए कार्येवाही  शुरू करने  जा रहा है तो दूसरी तरफ पीड़ित लोगों ने वनभूलपुरा क्षेत्र में सत्याग्रह शुरू कर दिया है हज़ारों की तादाद में लोग धरना प्रदर्शन कर अतिक्रमण नहीं हटाए जाने की मांग कर रहे हैं।

 

ऐसे में प्रशासन ने भी अपनी पूरी तैयारियों के साथ मौके पर मौजूद हैं।वही रेलवे अतिक्रमण पीड़ितों के साथ विधायक सुमित हृदयेश, सपा प्रभारी अब्दुल मतीन सिद्दीकी, सपा महासचिव शोएब अहमद व अन्य नेता शामिल रहे वही लोगो का कहना है कि अगर हमारे घर उजाड़ दिए जाते हैं तो हम कहा जाएंगे, उनका कहना है पिछले कई दशकों से हजारों की संख्या में परिवार बसा हुआ है

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लेकिन आज उन को उजाड़ने का काम किया जा रहा है स्कूल में पढ़ रहे हमारे बच्चों का भविष्य भी खतरे में आ जाएगा। लोगो का कहना है कि उजड़ने वाले लोगो में बच्चें, महिलाएं और बुजुर्ग भी काफी बड़ी संख्या में है,ऐसे हालात में वह लोग कहा अपने सिर को छुपाएंगे। इतिहास अनाज भारी फोर्स तैनात किया गया है हजारों की संख्या में लोग बनभूलपुरा क्षेत्र में घरों से निकलकर धरना प्रदर्शन कर रहे हैं। गौरतलब है कि हाईकोर्ट के आदेश के बाद रेलवे की 78 एकड़ जमीन पर अतिक्रमण कर बनाए गए 4365 भवनों को ध्वस्त करने के आदेश दिए हैं।

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साथ ही प्रशासन व पुलिस से सहयोग करने के लिए कहा है वह छोटे-छोटे बच्चे हाथों में तिरंगा लेकर सड़कों पर धरने पर बैठे दिखाई दिए हालांकि पुलिस प्रशासन शांति तरीके से धरने पर बैठे लोगों से कुछ नहीं बोला लेकिन लोगों का कहना है कि हमारे पिछले कई सालों से दादा परदादा यहां पर आकर पैसे दे आज सरकार के द्वारा सारी सुविधाएं हमको मिली लेकिन आज हमको उजाड़ा जा रहा है

 

कैसे होगा इनका बसेरा कहां जाएंगे इतने लोग वही विधायक सुमित हृदेश का कहना है कि कि आज लाखों परिवार बेघर हो रहे लेकिन सरकार केवल आंखों पर पट्टी बांधकर बैठी है क्योंकि जिस प्रकार से पहले से ही जब यह बसाई जावे तब सरकार के द्वारा अतिक्रमण को क्यों नहीं हटाया गया आज लाखों परिवार के गुजर बसर का मामला है तो अब कैसे इन लोगों की चिंता की जाएगी कैसे इनका बसेरा किया जाएगा

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वो वहीं महिलाओं के आंखों में आंसू आज दिखाई दिए सभी महिलाएं दुआ करती नजर आई सभी महिलाओं का कहना है कि हम सरकार के आदेश की अवहेलना नहीं करते लेकिन हमें पहले बचाया जाए हमारी छोटे-छोटे बच्चे इस महामारी में कहां जाएंगे जबकि करो ना का खतरा सर पर मंडरा रहा है तो ऐसे में हमारे बच्चे जनवरी फरवरी की ठंड में कहां दर-दर भटके के सभी लोगों का यही कहना है कि आज हमारे साथ जो अन्याय हो रहा है उसके लिए न्याय किया जाए पहले हमें बचाया जा उसके बाद ही हम घर को अपने छोड़ेंगे चाहे अपनी हमें जान देनी पड़े